*चतुर्थी, शुक्ल पक्ष,*
*वैशाख*
(समाप्ति काल)
तिथि----------- चतुर्थी 11:23:06 तक
पक्ष------------------------ शुक्ल
नक्षत्र--------- मृगशिरा 14:19:51
योग---------- अतिगंड 08:33:08
योग------------ सुकर्मा 29:37:27
करण------- विष्टि भद्र 11:23:06
करण------------- बव 22:13:12
वार---------------------- गुरूवार
माह----------------------- वैशाख
चन्द्र राशि-------------- मिथुन
सूर्य राशि------------------ मेष
रितु------------------------ ग्रीष्म
आयन------------------ उत्तरायण
संवत्सर---------------- विश्वावसु
संवत्सर (उत्तर)------------- सिद्धार्थी
विक्रम संवत--------------- 2082
गुजराती संवत-------------- 2081
शक संवत----------------- 1947
कलि संवत----------------- 5126
सूर्योदय-------------- 05:41:14
सूर्यास्त--------------- 18:51:41
दिन काल------------ 13:10:27
रात्री काल------------- 10:48:44
चंद्रोदय-------------- 08:23:48
चंद्रास्त---------------- 23:12:56
लग्न--------- मेष 16°41', 16°41'
सूर्य नक्षत्र----------------- भरणी
चन्द्र नक्षत्र--------------- मृगशिरा
नक्षत्र पाया------------------ लोहा
*🚩💮🚩 पद, चरण 🚩💮🚩*
का---- मृगशिरा 08:45:40
की---- मृगशिरा 14:19:51
कु---- आर्द्रा 19:56:35
घ---- आर्द्रा 25:35:58
*💮🚩💮 ग्रह गोचर 💮🚩💮*
ग्रह =राशी , अंश ,नक्षत्र, पद
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सूर्य= मेष 16°40, भरणी 2 लू
चन्द्र= मिथुन 01°30 , मृगशिरा 3 का
बुध =मीन 21°52 ' रेवती 2 दा
शु क्र= मीन 05°05, उ o फाo' 1 दू
मंगल=कर्क 11°30 ' पुष्य ' 3 हो
गुरु=वृषभ 27°30 मृगशिरा, 1 वे
शनि=मीन 03°88 ' पू o भा o , 4 दी
राहू=(व) मीन 01°00 पू o भा o, 4 दी
केतु= (व)कन्या 01°00 उ oफा o 2 टो
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*🚩💮🚩 शुभा$शुभ मुहूर्त 🚩💮🚩*
राहू काल 13:55 - 15:34 अशुभ
यम घंटा 05:41 - 07:20 अशुभ
गुली काल 08:59 - 10: 38अशुभ
अभिजित 11:50 - 12:43 शुभ
दूर मुहूर्त 10:05 - 10:57 अशुभ
दूर मुहूर्त 15:21 - 16:14 अशुभ
वर्ज्यम 22:12 - 23:43 अशुभ
प्रदोष 18:52 - 21:03 शुभ
💮चोघडिया, दिन
शुभ 05:41 - 07:20 शुभ
रोग 07:20 - 08:59 अशुभ
उद्वेग 08:59 - 10:38 अशुभ
चर 10:38 - 12:16 शुभ
लाभ 12:16 - 13:55 शुभ
अमृत 13:55 - 15:34 शुभ
काल 15:34 - 17:13 अशुभ
शुभ 17:13 - 18:52 शुभ
🚩चोघडिया, रात
अमृत 18:52 - 20:13 शुभ
चर 20:13 - 21:34 शुभ
रोग 21:34 - 22:55 अशुभ
काल 22:55 - 24:16* अशुभ
लाभ 24:16* - 25:37* शुभ
उद्वेग 25:37* - 26:58* अशुभ
शुभ 26:58* - 28:19* शुभ
अमृत 28:19* - 29:40* शुभ
💮होरा, दिन
बृहस्पति 05:41 - 06:47
मंगल 06:47 - 07:53
सूर्य 07:53 - 08:59
शुक्र 08:59 - 10:05
बुध 10:05 - 11:11
चन्द्र 11:11 - 12:16
शनि 12:16 - 13:22
बृहस्पति 13:22 - 14:28
मंगल 14:28 - 15:34
सूर्य 15:34 - 16:40
शुक्र 16:40 - 17:46
बुध 17:46 - 18:52
🚩होरा, रात
चन्द्र 18:52 - 19:46
शनि 19:46 - 20:40
बृहस्पति 20:40 - 21:34
मंगल 21:34 - 22:28
सूर्य 22:28 - 23:22
शुक्र 23:22 - 24:16
बुध 24:16* - 25:10
चन्द्र 25:10* - 26:04
शनि 26:04* - 26:58
बृहस्पति 26:58* - 27:52
मंगल 27:52* - 28:46
सूर्य 28:46* - 29:40
*🚩उदयलग्न प्रवेशकाल 🚩*
मेष > 04:48 से 06:22 तक
वृषभ > 06:22 से 08:06 तक
मिथुन > 08:06 से 10:46 तक
कर्क > 10:46 से 13:00 तक
सिंह > 13:00 से 15:16 तक
कन्या > 15:16 से 17:32 तक
तुला > 17:32 से 19:44 तक
वृश्चिक > 19:44 से 22:12 तक
धनु > 22:12 से 00:24 तक
मकर > 00:24 से 02:02 तक
कुम्भ > 02:02 से 03:22 तक
मीन > 03:22 से 04:44 तक
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*🚩विभिन्न शहरों का रेखांतर (समय)संस्कार*
(लगभग-वास्तविक समय के समीप)
दिल्ली +10मिनट--------- जोधपुर -6 मिनट
जयपुर +5 मिनट------ अहमदाबाद-8 मिनट
कोटा +5 मिनट------------ मुंबई-7 मिनट
लखनऊ +25 मिनट--------बीकानेर-5 मिनट
कोलकाता +54-----जैसलमेर -15 मिनट
*नोट*-- दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है।
प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है।
चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥
रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।
अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥
अर्थात- चर में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।
उद्वेग में भूमि सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।
लाभ में व्यापार करें ।
रोग में जब रोगी रोग मुक्त हो जाय तो स्नान करें ।
काल में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।
अमृत में सभी शुभ कार्य करें ।
*💮दिशा शूल ज्ञान-------------दक्षिण*
परिहार-: आवश्यकतानुसार यदि यात्रा करनी हो तो घी अथवा बेसन के लड्डू खाके यात्रा कर सकते है l
इस मंत्र का उच्चारण करें-:
*शीघ्र गौतम गच्छत्वं ग्रामेषु नगरेषु च l*
*भोजनं वसनं यानं मार्गं मे परिकल्पय: ll*
*🚩 अग्नि वास ज्ञान -:*
*यात्रा विवाह व्रत गोचरेषु,*
*चोलोपनिताद्यखिलव्रतेषु ।*
*दुर्गाविधानेषु सुत प्रसूतौ,*
*नैवाग्नि चक्रं परिचिन्तनियं ।।* *महारुद्र व्रतेSमायां ग्रसतेन्द्वर्कास्त राहुणाम्*
*नित्यनैमित्यके कार्ये अग्निचक्रं न दर्शायेत् ।।*
4 + 5 + 1 = 10 ÷ 4 = 02शेष
आकाश लोक पर अग्नि वास हवन के लिए अशुभ कारक है l
*🚩💮 ग्रह मुख आहुति ज्ञान 💮🚩*
सूर्य नक्षत्र से अगले 3 नक्षत्र गणना के आधार पर क्रमानुसार सूर्य , बुध , शुक्र , शनि , चन्द्र , मंगल , गुरु , राहु केतु आहुति जानें । शुभ ग्रह की आहुति हवनादि कृत्य शुभपद होता है
बुध ग्रह मुखहुति
*💮 शिव वास एवं फल -:*
4 + 4 + 5 = 13 ÷ 7 = 6 शेष
क्रीड़ायां = शोक , दुःख कारक
*🚩भद्रा वास एवं फल -:*
*स्वर्गे भद्रा धनं धान्यं ,पाताले च धनागम:।*
*मृत्युलोके यदा भद्रा सर्वकार्य विनाशिनी।।*
प्रातः 11:23 तक समाप्त
स्वर्गलोक = शुभ कारक
*💮🚩 विशेष जानकारी 🚩💮*
*विनायक चतुर्थी व्रत*
*विश्व मजदूर दिवस*
*महाराष्ट्र, गुजरात दिवस*
*💮🚩💮 शुभ विचार 💮🚩💮*
असंतुष्टा द्विजा नष्टाः संतुष्टाश्च महीभृतः ।
सलज्जागणिकानष्टाः निर्लज्जाश्च कुलांगनाः ।।
।। चा o नी o।।
असंतुष्ट ब्राह्मण, संतुष्ट राजा, लज्जा रखने वाली वेश्या, कठोर आचरण करने वाली गृहिणी ये सभी लोग विनाश को प्राप्त होते है.
*🚩💮🚩 सुभाषितानि 🚩💮🚩*
गीता -:श्रद्धात्रयविभागयोग :- अo-17
अनुद्वेगकरं वाक्यं सत्यं प्रियहितं च यत्।,
स्वाध्यायाभ्यसनं चैव वाङ्मयं तप उच्यते॥,
जो उद्वेग न करने वाला, प्रिय और हितकारक एवं यथार्थ भाषण है (मन और इन्द्रियों द्वारा जैसा अनुभव किया हो, ठीक वैसा ही कहने का नाम 'यथार्थ भाषण' है।,) तथा जो वेद-शास्त्रों के पठन का एवं परमेश्वर के नाम-जप का अभ्यास है- वही वाणी-सम्बन्धी तप कहा जाता है॥,15॥,
*💮🚩 दैनिक राशिफल 🚩💮*
देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।
नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।
विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।
जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।
🐏मेष
प्रेम-प्रसंग में अनुकूलता रहेगी। भेंट व उपहार देना पड़ सकते हैं। बेवजह तनाव रह सकता है। सिर में चोट लग सकती है। दूर से शुभ समाचार प्राप्त होंगे। घर में अतिथियों का आगमन होगा। व्यय बढ़ेगा। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। कोई बड़ा काम करने तथा यात्रा पर जाने का मन बनेगा। आय बनी रहेगी।
🐂वृष
जल्दबाजी से चोट लग सकती है। कुसंगति से बचें। कोई अप्रत्याशित खर्च सामने आएगा। कर्ज लेना पड़ सकता है। असमंजस की स्थिति बनेगी। लेन-देन में जल्दबाजी व लापरवाही न करें। भावनाओं को वश में रखें। मन की बात किसी को न बतलाएं। प्रतिष्ठा में कमी हो सकती है।
👫मिथुन
बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे। यात्रा मनोरंजक रहेगी। मित्रों तथा पारिवारिक सदस्यों के साथ समय सुखमय व्यतीत होगा। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। नौकरी में अधिकार बढ़ सकते हैं। घर-बाहर पूछ-परख रहेगी। प्रमाद न करें।
🦀कर्क
किसी भी व्यक्ति के उकसाने में न आएं। बातचीत में संयम रखें। शत्रुता में कमी रहेगी। स्थायी संपत्ति की खरीदी-बिक्री की योजना बनेगी। उन्नति के मार्ग प्रशस्त होंगे। पार्टनरों तथा मित्रों का सहयोग प्राप्त होगा। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। नौकरी में अधिकार बढ़ सकते हैं।
🐅सिंह
यात्रा लंबी तथा मनोरंजक रह सकती है। अप्रत्याशित लाभ के योग हैं। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। जीवन सुखमय व्यतीत होगा। प्रसन्नता तथा उत्साह से ओत-प्रोत रहेंगे। पारिवारिक सहयोग प्राप्त होगा। चोट-रोग व चोरी-विवाद से बचें।
🙍♀️कन्या
ऐश्वर्यादि पर खर्च होगा। यश बढ़ेगा। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। नए काम मिल सकते हैं। आर्थिक वृद्धि के लिए योजना बनेगी। कार्यप्रणाली में सुधार होगा। कारोबार में वृद्धि के योग हैं। नौकरी में जवाबदारी बढ़ सकती है। थकान व कमजोरी रह सकती है। विरोधी सक्रिय रहेंगे।
⚖️तुला
बौद्धिक कार्य सफल रहेंगे। पार्टी व पिकनिक का कार्यक्रम बन सकता है। सृजनशीलता का विकास होगा। धन प्राप्ति सुगम होगी। व्यापार-व्यवसाय सुखद रहेगा। जल्दबाजी न करें। शारीरिक कष्ट संभव है। चिंता तथा तनाव रहेंगे। संतान संबंधी बुरी सूचना प्राप्त हो सकती है।
🦂वृश्चिक
शत्रु पीठ पीछे षड्यंत्र रच सकते हैं। प्रियजनों के साथ रिश्तों में खटास आ सकती है। विवाद को बढ़ावा न दें। दूर से दु:खद समाचार मिल सकता है। पुराने रोग को नजरअंदाज न करें। व्यय होगा। कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। व्यापार-व्यवसाय की गति धीमी रहेगी।
🏹धनु
परिवार के किसी सदस्य के स्वास्थ्य संबंधी चिंता रहेगी। मित्रों का सहयोग प्राप्त होगा। परिवार में कोई मांगलिक कार्य का आयोजन हो सकता है। जीवनसाथी से सहयोग प्राप्त होगा। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। शत्रुभय रहेगा। नौकरी में मातहतों का सहयोग मिलेगा।
🐊मकर
सुख के साधन जुटेंगे। यात्रा मनोरंजक रहेगी। मित्रों का साथ मिलेगा। प्रयास सफल रहेंगे। किसी विवाद में विजय मिल सकती है। सामाजिक काम करने का मन बनेगा। पराक्रम व प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। धन प्राप्ति सुगम होगी। कारोबारी कामकाज चलते रहेंगे। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी।
🍯कुंभ
विवेक से कार्य करें, लाभ होगा। किसी धार्मिक स्थल के दर्शन का कार्यक्रम बन सकता है। मित्रों से भेंट होगी। किसी प्रभावशाली व्यक्ति का सहयोग व मार्गदर्शन प्राप्त होगा। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। जीवनसाथी की चिंता रहेगी। घर में सुख-शांति बनी रहेगी। घर-बाहर पूछ-परख रहेगी।
🐟मीन
वाहन व मशीनरी के प्रयोग में लापरवाही न करें। अनहोनी की आशंका निर्मूल नहीं हो सकती है। पुराना रोग उभर सकता है। वाणी पर नियंत्रण रखें। दूसरों के मामलों में हाथ न डालें। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। किसी व्यक्ति के व्यवहार से क्लेश होगा। आय होगी। जोखिम न उठाएं।
*🚩आपका दिन मंगलमय हो🚩*